पटना के लिए बस सुविधा नहीं मिलने से जिले के लोगों की बढ़ी परेशानी
राज्य सरकार इस मामले में गंभीरता से विचार करे : पवनकुमार
लॉकडाउन की तिथि बढ़ने से पटना जाने वाले लोगों की परेशानी और बढ़ गई है। जिला फुटकर थोक विक्रेता संघ के नेता पवन कुमार साह ने कहा कि एक ओर सरकार लॉकडाउन का ठीक से पालन नहीं करवा पा रही है। दूसरी ओर आवश्यक सेवा वाली चीजों पर भी सख्ती जारी रखने का निर्णय आम लोगों की परेशानी बढ़ा दी है। पवन का कहना है कि लॉकडाउन में कम से पटना या अधिक दूरी की चलने वाली बसों काे चलाने की इजाजत मिलनी चाहिए। ऐसा नहीं होने से एक तो बाजार में मंहगाई बढ़ती है, दूसरी ओर समानों की किल्लत हो रही है। उन्होंने कहा कि सोशल डिस्टेंसिंग के कारण ट्रेन बंद है और स्थानीय स्तर पर बसें भी बंद है। लेकिन पटना वाली बसें वैसे भी सोशल डिस्टेंसिंग का गंभीरता से पालन करती हैं। लेकिन सरकार द्वारा इजाजत नहीं मिलने से लोगों की परेशानी काफी बढ़ गई है। ऐसे में सरकार को इस मामले में गंभीरता से विचार करना चाहिए। दूसरी ओर मस्जिद चौक के मो. अली का कहना है कि मेरे एक परिजन काफी लंबे समय से बीमार हैं। उनका पटना से नियमित इलाज चलता है। लेकिन बस नहीं चलने से ऐसे मरीजों का सही ढंग से इलाज नहीं हो रहा है।
सरकार को जन सरोकार से कोई मतलब नहीं
दूसरी ओर मेडिकल सेवा से जुड़े लोगों का कहना है कि दवा या उपस्कर संबंधी समान अधिकतर पटना से ही आते हैं। इसके लिए पटना वाली बस ही एक मात्र विकल्प है। ऐसे में पटना वाली बसों को खोलने की इजाजत सरकार दे।