‘जब बात बिहार की हो.. नाम सिर्फ नीतीश कुमार का हो’, BJP या RJD किसके लिए संदेश? – NITISH KUMAR
नीतीश कुमार की नाराजगी की खबरों के बीच जेडीयू के पोस्ट ने खलबली मचा दी है. चर्चा तेज हो गई है कि फिर ‘खेला’ होगा?
पटना: पहले टीवी चैनल पर अमित शाह का सीएम फेस को लेकर गोलमोल जवाब, फिर नीतीश कुमार की तबीयत खराब. जिस वजह से बिहार बिजनेस कनेक्ट 2024 से सीएम का गायब रहना और अब जेडीयू का पोस्ट. जिसके माध्यम से ये बताने की कोशिश है कि जब भी बिहार की बात होगी, सिर्फ नीतीश कुमार की ही बात होगी.
क्या लिखा है जेडीयू के पोस्ट में?: जनता दल यूनाइटेड ने रविवार शाम को एक ऐसा पोस्ट किया है, जिसके कई मतलब निकाले जा रहे हैं. संकेतों में पार्टी ने साफ कर दिया है कि नीतीश कुमार के बिना बिहार की कोई बात नहीं हो सकती है. जेडीयू ने अपने आधिकारिक एक्स हैंडल पर मुख्यमंत्री की तस्वीर के साथ एक पोस्ट शेयर किया है. जिसमें लिखा है, ‘जब बात बिहार की हो, नाम सिर्फ नीतीश कुमार का हो.’
जेडीयू के पोस्ट का क्या मतलब?: जेडीयू के इस पोस्ट का सीधा अर्थ ये है कि बात बिहार की राजनीति की हो या बात बिहार के विकास की हो, बिना मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के किसी तरह की बात मुमकिन नहीं है. पार्टी विरोधियों से अधिक अपने सहयोगियों को विधानसभा चुनाव से पहले ये संदेश देना चाहती है कि अगर ‘माइनस नीतीश कुमार’ किसी तरह का समीकरण बनाना चाहती है तो संभल जाएं, क्योंकि बिना नीतीश कुमार के कुछ भी संभव नहीं है.
क्या आरजेडी के साथ जाएंगे नीतीश?: इस पोस्ट के बाद ये भी चर्चा शुरू हो गई है कि जल्द ही नीतीश कुमार एक बार फिर पाला बदल सकते हैं. अगर बीजेपी ने सीएम को लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं की तो खरमास के बाद नीतीश कुमार खेल कर सकते हैं. ऐसे में उनके सामने आरजेडी के साथ मिलकर सरकार बनाने के अलावे कोई विकल्प नहीं बचेगा. अचानक से आरजेडी नेताओं की ओर से नीतीश को लेकर थोड़ी नरमी देखी जा रही है. हालांकि महागठबंधन की सरकार बनने पर मुख्यमंत्री कौन होगा, इस पर सभी की नजर होगी.
अमित शाह ने क्या बोला था?: दरअसल, पिछले दिनों एक टीवी चैनल के कार्यक्रम में केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से बिहार चुनाव में एनडीए के सीएम फेस को लेकर सवाल पूछा गया तो उन्होंने स्पष्ट जवाब नहीं दिया. शाह ने कहा, ‘देखिये इस तरह का मंच पार्टी के डिसिजन लेने के लिए या बताने के लिए नहीं होता है. मैं पार्टी का डिसिप्लिन कार्यकर्ता हूं. पार्टी के पार्लियामेंट्री बोर्ड की बैठक में इस मुद्दे पर चर्चा होगी और उसके बाद ही फैसला लिया जाएगा.’
क्यों नाराज हो गए नीतीश?: माना जा रहा है कि अमित शाह के इसी बयान से नीतीश कुमार नाराज हैं. जेडीयू सूत्रों का कहना है कि जब जनवरी 2024 में एनडीए में उनकी वापसी हुई थी, तभी ही ये तय हो गया था कि 2025 में भी नीतीश कुमार के नेतृत्व में चुनाव लड़ा जाएगा. सम्राट चौधरी, विजय कुमार सिन्हा, चिराग पासवान, जीतनराम मांझी और उपेंद्र कुशवाहा समेत एनडीए के तमाम नेता सार्वजनिक मंच से कहते रहे हैं कि नीतीश कुमार ही हमारे सीएम होंगे लेकिन महाराष्ट्र चुनाव परिणाम के बाद अचानक अमित शाह ने ऐसा बयान दे दिया, जिससे चर्चा शुरू हो गई कि बीजेपी बिहार में भी एकनाथ शिंदे जैसा ‘सलूक’ नीतीश कुमार के साथ कर सकते हैं.