बिहार के राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अलंकार आज दो दिवसीय दौरे पर पूर्णियाँ पहुँचे। हवाई मार्ग से वे पटना से सीधे पूर्णियाँ के इंदिरा गाँधी स्टेडियम पहुँचे।
जहां सर्किट हाउस में कुछ पल विताने के बाद महामहिम राज्यपाल पूर्णियाँ पूर्व स्थित रानीपतरा पहुँचे जहाँ चाँदी पंचायत के प्रगतिशील किसान शशि भूषण सिंह से मिले। यहाँ उन्होंने जैविक विधि से हो रही खेती को देखा और जानकारी ली।
शुक्रवार को जैविक विधि से विभिन्न प्रकार के सब्जी उत्पादन के कार्यों को देखने बिहार के महामहिम राज्यपाल राजेंद्र विश्वनाथ अलंकर, शशि भूषण सिंह के घर पहुंचे।
वही महामहिम राज्यपाल के रानीपतरा आने की सूचना से जिला प्रशासन की ओर से उनके घर के आसपास पूरी निगरानी वह मेटल डिटेक्टर, डॉग स्क्वायड टीम से जांच कर सुरक्षा के पुख्ता इंतजाम कर पुलिस की चाक-चौबंद व्यवस्था सुनिश्चित की गई थी।
वही महामहिम की सुरक्षा व्यवस्था का कमान पूर्णिया पुलिस अधीक्षक ने संभाल रखा था तो वही जिला पदाधिकारी सुहर्ष भगत, एडीएम केडी प्रज्वल, एसडीओ जिला कृषि पदाधिकारी, अंचलाधिकारी पूर्णिया पूर्व मुन्ना कुमार जिले के सभी पदाधिकारी शशि भूषण सिंह के घर पर महामहिम को क्षेत्र के बारे में जानकारी दे रहे थे साथ ही सरकार के द्वारा चलाए जा रहे कृषि से संबंधित योजनाओं के बारे में जानकारी उपलब्ध करवा रहे थे। वही महामहिम राजपाल जब शशि भूषण सिंह के घर पर पहुंचे तो सर्वप्रथम सिंह के बागवानी को बहुत बारीकी से देखा जिसमें जैविक फूलगोभी, फ्रेंच बींस, बैगन, नैनवा, आलू, धनिया, मूली, इत्यादि शामिल है।
उन्होंने श्री सिंह से जैविक पद्धति से सब्जी की खेती कैसे की जाती है इसके गुड सीखें और जानकारी लिया साथ ही उन्नत खेती करने से मिले सभी तरह के पुरस्कार प्रशस्ति पत्र भी देखें। वही महामहिम ने प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के बारे में भी जानकारी लिया और शशि भूषण सिंह के घर पर आए किसानों से पूछा कि इसका लाभ आप सभी किसान भाइयों को मिल रहा है कि नहीं वही किसानों ने कहा की तीन किस्तों में 6000 हजार रुपए एक साल में हम लोगों को मिलता है।
महामहिम ने प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना के बारे में भी जानकारी ली और किसान भाइयों को कहा की आप फसल का बीमा कर योजना का लाभ ले। उन्होंने कहा देश के प्रधानमंत्री चाहते है की किसानों की आय दोगुनी हो। महामहिम ने कहा की किसानों के घर में एक देसी नस्ल की गाय होनी चाहिए जिससे उसे कई तरह का लाभ मिलेगा।
वही किसानों ने महामहिम को बताया कि हम लोगों के फसल का दाम जब घट जाता है तब हम लोगों को फसल रखने के लिए कोल्ड स्टोरेज की व्यवस्था नहीं है।