राजधानी दिल्ली में घर-घर राशन (Doorstep Delivery of Ration) की योजना पर केजरीवाल सरकार और उपराज्यपाल अनिल बैजल के बीच लंबे समय से चल रहे विवाद के बीच मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने राशन की डोर स्टेप डिलीवरी की फाइल मंजूरी के लिए एक बार फिर से उपराज्यपाल को भेजी है।
दिल्ली सरकार के एक अधिकारी ने मंगलवार को इसकी पुष्टि करते हुए कहा कि उपराज्यपाल को फाइल भेज दी गई है। इसमें कहा गया है कि दिल्ली हाईकोर्ट ने राशन की डोर स्टेप डिलीवरी लागू करने की अनुमति दे दी है, ऐसे में आप भी इस प्रस्ताव को मंजूरी दें ताकि दिल्ली में जल्द से जल्द राशन की डोर स्टेप डिलीवरी योजना लागू हो सके।
पिछले सप्ताह हाईकोर्ट ने दिल्ली में राशन की डोर स्टेप डिलीवरी योजना लागू करने की सशर्त इजाजत दे दी थी। राशन की डोर स्टेप डिलीवरी योजना पर केजरीवाल सरकार और उपराज्यपाल में काफी समय से विवाद चल रहा है। दिल्ली की केजरीवाल सरकार राशन की डोर स्टेप डिलीवरी योजना लागू करने पर अड़ी थी, जबकि उपराज्यपाल/ केंद्र सरकार इसका विरोध कर रहे थे।
दिल्ली सरकार का आरोप है कि केंद्र ने राजधानी में 72 लाख राशन कार्ड धारकों को लाभान्वित करने वाली उसकी महत्वाकांक्षी घर-घर राशन योजना को रोक दिया और उसने इस कदम को राजनीति से प्रेरित बताया था। केंद्र सरकार ने हालांकि आरोपों को आधारहीन करार दिया है।
गौरतलब है कि इस योजना को पहले मुख्यमंत्री घर घर राशन योजना (MMGGRY) नाम दिया गया था, लेकिन बाद में 9 मार्च को केंद्रीय उपभोक्ता मामलों के मंत्रालय द्वारा एक अधिसूचना के बाद इसे हटा दिया गया था, जिसमें कहा गया था कि राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा अधिनियम (NFSA) के तहत वितरण के लिए आवंटित सब्सिडी वाले खाद्यान्न का इस्तेमाल अलग नाम से योजनाओं के लिए नहीं किया जा सकता है।